रेलवे लाइन बिछाने कोरबा अनुविभाग में सरकारी जमीन आवंटन की प्रक्रिया बड़ी आगे…..

Rajesh Kumar Mishra
Rajesh Kumar Mishra
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NOW HINDUSTAN. Korba. छत्तीसगढ़ ईस्ट रेल कॉरिडोर के फेस-1 में खरसिया से धरमजयगढ़ के बीच नई रेलवे लाइन बिछने के बाद अब फेस-2 में उरगा से धरमजयगढ़ तक नई रेल लाइन बिछा रहे हैं। धरमजयगढ़ की ओर से बिछते हुए आ रही रेलवे लाइन के लिए अब कोरबा अनुविभाग में सरकारी जमीन आवंटन की प्रक्रिया आगे बढ़ रही है।

आने वाले कुछ साल के भीतर कोरबा का उरगा रेलवे स्टेशन जंक्शन के रूप में तब्दील हो जाएगा। जिसके बाद रायगढ़ के खरसिया स्टेशन की ओर से पेंड्रा रोड स्टेशन की ओर बिलासपुर होकर आवाजाही करने वाले मालगाड़ी व यात्री ट्रेनें कोरबा से होकर गुजरेंगी। यह सब ज्वाइंट वेंचर कंपनी द्वारा बनाए जा रहे छत्तीसगढ़ ईस्ट रेलवे कॉरिडोर से होगा। जिसके फेस-1 में खरसिया से धरमजयगढ़ तक नई रेल लाइन बिछ चुकी है। अब फेस-2 में उरगा से धरमजयगढ़ तक रेल लाइन बिछाने का कार्य शुरू हुआ है। रेल लाइन 65.5 ​किमी लंबी है। जिसमें 47 किमी का क्षेत्र कोरबा जिले का है। जिले के दायरे में आने वाले क्षेत्र में नई रेलवे लाइन के लिए अब सरकारी जमीन का आवंटन की प्रक्रिया बढ़ रही है। राजस्व विभाग इसके लिए दावा/आपत्ति मांग रहा है। दूसरी ओर उरगा से गेवरा रोड स्टेशन (कुसमुंडा) की ओर नई रेलवे लाइन बिछने का कार्य जारी है। उक्त लाइन आगे गेवरा रोड से पेंड्रा रोड तक जुड़ने वाली नई लाइन से जुड़ेगी। दक्षिण-पूर्व मध्य रेलवे बिलासपुर मंडल के पीआरओ पुष्कर विपुल विलास राव के मुताबिक ईस्ट रेलवे कॉरिडोर के तहत फेस-1 का कार्य पूरा हो चुका है। फेस-2 का कार्य प्रगति पर है। समय पर लक्ष्य पूरा हो जाएगा।

हाथियों की सुरक्षा के लिए 6 स्थानों पर बनेगा अंडरब्रिज करतला व धरमजयगढ़ के जंगलों में हाथियों की आमोदरफ्त है। छत्तीसगढ़ ईस्ट रेलवे कॉरिडोर के फेस-2 में गुजरने वाले 65.5 किमी लंबी रेल लाइन में करीब 80 फीसदी क्षेत्र हाथी प्रभावित है। इसलिए ट्रेन आवाजाही के दौरान किसी तरह की घटना न हो और हाथी सुरक्षित रहे, इसके लिए 6 स्थानों पर अंडरब्रिज बनाने के लिए चिन्हित किया गया है। उक्त अंडरब्रिज से दूसरे वन्य प्राणी भी आवाजाही कर सकेंगे।

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