NOW HINDUSTAN. Korba. कोरबा, छत्तीसगढ़: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय द्वारा 12 जून को लोकार्पित किए गए देवी अहिल्याबाई होलकर कन्वेंशन भवन की सीलिंग भरभराकर गिर गई है। खनिज न्यास मद से लगभग 17 करोड़ की लागत से निर्मित इस भवन की गुणवत्ता और निर्माण कार्य में हुए कथित भ्रष्टाचार पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। भाजपा शासन काल मे इस भवन का निर्माण शुरू हुआ था और यह घटना लोकार्पण के मात्र एक महीने के भीतर हुई है, जिससे पूरे मामले में ठेकेदार की लापरवाही और अधिकारियों की मिलीभगत की आशंकाएं बढ़ गई हैं।
यह कन्वेंशन भवन, जिसका निर्माण कई सालों के बाद पूरा हो पाया था, मुख्यमंत्री के हाथों लोकार्पित हुआ था और इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री भी उपस्थित थे। ऐसे में सीलिंग गिरने की घटना ने निर्माण कार्य में बरती गई घोर अनियमितताओं को उजागर कर दिया है।
उठते सवाल:
* निर्माण की गुणवत्ता: क्या इतनी बड़ी लागत से बने भवन में ऐसी घटिया सामग्री का उपयोग किया गया कि वह लोकार्पण के तुरंत बाद ही ढहने लगा?
* ठेकेदार की लापरवाही: निर्माण कार्य में ठेकेदार द्वारा सुरक्षा मानकों और गुणवत्ता निर्देशों का पालन क्यों नहीं किया गया?
* अधिकारियों की मिलीभगत: क्या अधिकारियों की शह पर गुणवत्ता से समझौता किया गया और भ्रष्टाचार को अंजाम दिया गया?
* जल्दबाजी में निर्माण: क्या लोकार्पण की जल्दी में भवन का निर्माण कार्य आनन-फानन में निपटाया गया, जिससे गुणवत्ता प्रभावित हुई?
इस घटना ने जिला प्रशासन और निर्माण विभाग की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगा दिया है। अब देखना यह होगा कि जिला प्रशासन इस गंभीर मामले में क्या कार्रवाई करता है। क्या दोषियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए क्या उपाय किए जाएंगे? यह मामला अब भ्रष्टाचार के खिलाफ सरकार की प्रतिबद्धता की भी अग्निपरीक्षा होगा।
