मनमाने तरीके से डंप की जा रही फ्लाईऐश , जन स्वास्थ्य और पर्यावरण पर पड़ रहा असर…….

Rajesh Kumar Mishra
Rajesh Kumar Mishra
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NOW HINDUSTAN. Korba.   कोरबा जिलान्तर्गत ग्राम पोड़ा-उपरोड़ा में इन दिनों बड़े पैमाने पर बिजली घरों से निकलने वाली राखड़ की डंपिंग की जा रही है, यह कार्य एक निजी ट्रांसपोर्टर द्वारा किया जा रहा है। बताया जाता है कि ट्रांसपोर्टर ने निजी जमीन के गड्ढे को पाटने के नाम पर राखड़ की डंपिंग शुरू कर दी है, लेकिन यह कार्य पूरी तरह नियमों के विपरीत हो रहा है। ग्रामीणों और किसानों का कहना है कि मनमानी तरीके से हो रही डंपिंग से आने वाले समय में खेतों की उर्वरा शक्ति और आसपास के पर्यावरण पर गंभीर असर पड़ सकता है।

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आरोप है कि राखड़ डंपिंग जिस भूमि पर की जा रही है, उसके चारों ओर दर्जनों किसानों के खेत मौजूद हैं। इनमें मुरली यादव, जय मंगल, पानसाय, विजय कुजूर, बेरोनिका, विक्रम मरकाम सहित कई किसानों की कृषि भूमि शामिल है। फिलहाल राखड़ पटिंग खेतों तक अभी नहीं पहुंची है, लेकिन जिस तेजी से गड्ढा पाटा जा रहा है, उससे आशंका है कि कुछ ही दिनों में यह राखड़ खेतों में फैल सकती है और फसल को नुकसान पहुंचा सकती है। युवा कांग्रेस विधानसभा अध्यक्ष अंकित पाल ने पोड़ी-उपरोड़ा में लिखित शिकायत दर्ज कराई है। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि नियमों के मुताबिक राखड़ डंपिंग का कार्य नहीं कराया गया और किसानों की जमीन सुरक्षित नहीं रखी गई, तो प्रभावित किसानों और युवा कांग्रेस द्वारा बड़े आंदोलन की तैयारी की जाएगी।

युवा कांग्रेस, किसानों और ग्रामीणों की मांग है कि शासन-प्रशासन तुरंत हस्तक्षेप कर नियम विरुद्ध राखड़ डंपिंग को रोके, ताकि आने वाले समय में कृषि भूमि और पर्यावरण पर संकट न आए। यह मामला अब केवल किसानों की आजीविका से नहीं, बल्कि जन स्वास्थ्य और पर्यावरण से भी जुड़ता नजर आ रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि यदि समय रहते कार्यवाही नहीं हुई, तो वे आंदोलन का रास्ता अपनाने को मजबूर होंगे।

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